नई दिल्ली: इसमें कोई शक नहीं है कि पर्थ टेस्ट मैच में टीम इंडिया अब बेहतर स्थिति में है और यहां से भारतीय टीम को जीत के अलावा शायद ही कुछ और सोचने की जरूरत है। जसप्रीत बुमराह की कप्तानी में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ 5 मैचों की टेस्ट सीरीज का पहला मैच खेल रही टीम इंडिया को इस टेस्ट मैच में जीत मिल सकती है, लेकिन उसके लिए भारतीय टीम को यहां से काफी सावधानी से आगे बढ़ना होगा साथ ही साथ सिर्फ इस बात पर ध्यान देना होगा।
पहले टेस्ट मैच में भारतीय टीम पहली पारी में 150 रन पर आउट हो गई तो वहीं मेजबान टीम भारतीय गेंदबाजों के आगे पूरी तरह से सरेंडर हो गई और पहली पारी में 109 रन पर ही सिमट गई। पहली पारी में कंगारू टीम के लिए मिचेल स्टार्क ने सबसे बड़ी 26 रन की पारी खेली। इससे जाहिर हो जाता है कि इस टीम के बल्लेबाजों ने क्या कुछ किया। दूसरे दिन का खेल जब समाप्त हुआ तब दूसरी पारी में भारत को 218 रन की अहम बढ़त मिली चुकी थी और इसके बाद जीत के लिए टीम इंडिया को बेहद सावधानी के साथ सधी रणनीति से आगे बढ़ने की जरूरत है।
जीत के लिए भारत को क्या करना होगा
पर्थ टेस्ट मैच में भारत काफी अच्छी स्थिति में है और टीम इंडिया को जीत के लिए तीसरे दिन बेहद सावधानी से खेलने की जरूरत है। अभी क्रीज पर यशस्वी जायसवाल 90 रन बनाकर जबकि केएल राहुल 62 रन बनाकर मौजूद हैं और दोनों जम चुके हैं। इन दोनों बल्लेबाजों ने लगभग दूसरे दिन पूरे समय तक बल्लेबाजी की और कंगारू तेज गेंदबाजों के हर वार को झेला। अब खेल के तीसरे दिन सुबह के सत्र में जब तेज गेंदबाजों को मदद मिलेगी तब इनकी असली परीक्षा होगी।
तीसरे दिन यशस्वी और राहुल को शुरुआत में कम से कम एक घंटे तक काफी सावधानी से खेलना होगा। अगर ये दोनों इतनी देर तक क्रीज पर रह जाते हैं तो फिर रन जरूर बनेंगे। वहीं अगर भारत के कुछ विकेट शुरुआती घंटों में गिर जाते हैं तो फिर बाद में आने वाले बल्लेबाजों को जमने की जरूरत होगी। तीसरे दिन जैसे-जैसे खेल आगे बढ़ेगा धूप खिलेगी और क्रीज की नमी खत्म होती चली जाएगी। नमी खत्म होने के बाद बल्लेबाजों को बैटिंग करने में आसानी होगी और रन भी आएंगे। भारतीय बल्लेबाजों को क्रीज पर समय बिताना है और खुद पर काबू रखते हुए खराब शॉट्स लगाने से बचना है साथ ही ऑफ-स्टंप से बाहर निकलती गेंद को छेड़ने से बचना है।