नई दिल्ली: अपने साथी खिलाड़ी की बैडमिंटन कोर्ट में ही गिरने के बाद हुए आकस्मिक निधन के बावजूद चीन ने सभी छह खिताब जीतकर एशियाई जूनियर 19 वर्ष आयु बैडमिंटन स्पर्धा में अपना एकाधिकार कायम किया। भारत का प्रदर्शन अत्यंत निराशाजनक और खाली हाथ रहा,कोई खिलाड़ी व्यक्तिगत मुकाबले में क्वार्टर फाइनल तक भी नहीं पहुंच सका।
इंडोनेशिया के योग्याकार्ता में 28 जून से 7 जुलाई तक हुई इस स्पर्धा में भारत का श्रेष्ठ प्रदर्शन मिश्रित टीम मुकाबले में क्वार्टर फाइनल खेलना रहा, राष्ट्रीय महिला उपविजेता तनवी शर्मा ने ही प्रभावी प्रदर्शन कर प्रभावित किया।भारतीय टीम क्वार्टर फाइनल में मलेशिया से 2-3 से हार गई जिसे सेमीफाइनल में चीन ने 1-3 से हराया, टीम मुकाबले में तनवी शर्मा अपराजित रही।क्वार्टर फाइनल में भी तनवी ने मलेशिया की सिति जुलैखा को 21-15, 15-21 ,22-20 से हराया जो इस समय विश्व जूनियर बालिका नंबर 4 है।चीन ने फाइनल में कोरिया को 3-1 से हराया, कोरिया, इंडोनेशिया को 3-1 से हराकर फाइनल में आया।पहले क्रम के चीन के हुए झे एन ने कोरिया के यून हो सेओंग को 13-21,21-14,21-14 से हराकर 19वर्ष बालक एकल खिताब जीता। बालिका एकल फाइनल चीनी खिलाड़ी के बीच ही हुआ, तीसरे क्रम की झु वेन जिंग ने यिन यि क्विंग को 21-13, 21-15 से हराया। कोरियाई दो वर्गों में उपविजेता रहे, तनवी शर्मा 19वर्ष बालिका एकल के तीसरे दौर (प्रि क्वार्टर फाइनल) में पहले क्रम की थाईलैंड की सारुनराक वितिद्सर्न से 12-21,19-21 से हारी, वितिद्सर्न सेमीफाइनल में यिन यि से और दूसरे क्रम की मलेशिया की सिति, झु वेन से सेमीफाइनल में पराजित हुई।बालक एकल में 12वें क्रम के ध्रुव नेगी, पांचवें क्रम के प्रणव शेट्टीगर और प्रणव राम अरिगेला चौथे दौर (प्रि क्वार्टर फाइनल) तक खेले, तीनों तीन -तीन गेमों में पराजित हुए, प्रणव शेट्टीगर को यू हो ने 21-13,9-21,15-21 से हराया, ध्रुव नेगी आठवें क्रम के इंडोनेशिया के मोहम्मद जकि उबैदिल्लाह से 15-21, 21-16, 14-21 से तो प्रणव राम, दूसरे क्रम के थाईलैंड के पात्चाराकित से 21-18,18-21,20-22 से हारे।
बालक युगल में अर्श मोहम्मद और संस्कार सारस्वत एवं छठवें क्रम के भार्गव राम अरिगेला और विस्वा तेज गोब्बुरु प्रि क्वार्टर फाइनल में पराजित हुए, नव्या कंदेरि और रेशिका यु बालिका युगल के प्रि क्वार्टर फाइनल में हारी।
भारतीय बैडमिंटन संगठन को अपने खिलाड़ियों से अनेक पदक की उम्मीद थी, भारतीय बैडमिंटन संगठन महासचिव *संजय मिश्रा* ने भारतीय टीम की रवानगी पर कहा था”हमें भरोसा है कि यह टीम इंडोनेशिया से पदक लेकर लौटेगी”, व्यक्तिगत मुकाबले में भी भारत की पूर्व सफलता”दो स्वर्ण,एक रजत और छह कांस्य पदक ” का हवाला देते हुए पदक की उम्मीद की गई थी।18 सदस्यीय भारतीय टीम का अभ्यास शिविर राष्ट्रीय उत्कृष्ट बैडमिंटन केंद्र, गुवाहाटी में लगाया गया था।चीन के जादू, कोरिया, इंडोनेशिया, मलेशिया और थाईलैंड के आगे भारतीय खिलाड़ी असफल ही रहे,याने अभी और सुधार की गुंजाइश हैं।
अब 17 और 15 वर्ष आयु की एशियाई स्पर्धा चीन में
अब 20 से 25 अगस्त तक चीन के चेंगदू में 17 और 15 वर्ष आयु की एशियाई जूनियर बैडमिंटन स्पर्धा हैं, भारतीय बैडमिंटन संगठन महासचिव संजय मिश्रा ने बताया कि इसके लिए भारतीय टीम का चयन बैंगलुरु के कर्नाटक बैडमिंटन एसोसिएशन (KBA)परिसर में 18 से 21 जुलाई तक होगा, भारतीय बैडमिंटन संगठन ने चयन मुकाबले के लिए मप्र के प्रणित सोमानी को एकल और युगल के लिए आमंत्रित किया है।
दुखद घटना :प्रतिभाशाली खिलाड़ी की मौत-मैच खेलते हुए कोर्ट में गिरे
एशियाई जूनियर 19 वर्ष आयु बैडमिंटन स्पर्धा, इंडोनेशिया दौरान चीन ने एक प्रतिभाशाली खिलाड़ी को खो दिया। 17 साल 5 माह आयु के *झांग झि जिई* जापान विरुद्ध समूह लीग एकल मैच कोझुमि विरुद्ध खेलते हुए 30 जून 2024 को शाम 6.30 बजे अचानक कोर्ट में अटैक(कार्डिक अरेस्ट)आने से गिर गए। वे तड़पते हुए दो बार उठे भी लेकिन कोई इलाज तत्काल नहीं मिलने से कोर्ट में ही पड़े रहे।अंपायर के कहने पर रैफरी के निर्देश पर चिकित्सक आए,लेकिन विश्व कप बैडमिंटन महासंघ और बैडमिंटन के नियमों से बंधे होने से चिकित्सक कोर्ट में कोई चिकित्सा नहीं कर सके।सी पी आर तत्काल वहीं दे देते तो शायद वह बच जाता,दो मिनट में एम्बुलेंस आई, उन्हें हार्ट और नर्वस ब्रेक डाउन हुआ,झांग की अस्पताल में रात 11.20 बजे मृत्यु हो गई, वे डच और जर्मन जूनियर ग्रांप्री स्पर्धा के फाइनल खेले, एक स्पर्धा में विजेता और एक स्पर्धा में उपविजेता रहे।
इस आकस्मिक दुखद घटना के बाद आपातकाल में मैच दौरान चिकित्सा व्यवस्था ( प्रोटोकॉल) में बदलाव की जरुरत महसूस की गई है।झांग झि जिई को श्रृद्धांजलि अर्पित की गई, चीन टीम ने मिश्रित युगल खिताब जीतने पर पोडियम पर अपने खिलाड़ी झांग की टीशर्ट को प्रस्तुत करते हुए शोक व्यक्त किया।
लक्ष्य सहित भारतीय खिलाड़ी विश्व रैंकिंग में पिछड़े: प्रियांशु की रैंकिंग सुधरी
कनाडा खुली सुपर 500 स्पर्धा में खेलने के लिए कनाडा वीसा नहीं मिलने और स्पर्धा में खेल नहीं पाने से भारत के लक्ष्य सेन की विश्व रैंकिंग पांच स्थान फिसल गई।वे इस स्पर्धा के पिछले विजेता थे जो अंक कम होने से 9 जुलाई 2024 की विश्व रैंकिंग में लक्ष्य सेन 14 वें से 19 वें स्थान पर आए, इससे लक्ष्य सेन को पेरिस ओलंपिक के ग्रुप ड्रा में में भी नुकसान होगा, कनाडा स्पर्धा के सेमीफाइनल खेले प्रियांशु राजावत ने चार स्थानों का सुधार किया। प्रियांशु की विश्व रैंकिंग 39 से 34 हो गई है। किदांबी श्रीकांत और किरण जार्ज तीन-तीन स्थान पिछड़ कर क्रमश: 37 वें और 38 वें स्थान पर गए,पी वी सिंधु भी एक स्थान पिछड़ कर विश्व नंबर 13 हो गई। सात्विक साईंराज रैंकीरेड्डी और चिराग शेट्टी पुरुष युगल में तीसरे,एच एस प्रणोय पुरुष एकल में 13वें एवं तनिषा क्रास्टो और अश्विनी पोनप्पा महिला युगल में 19 वें स्थान पर बरकरार हैं,ट्रेसा जोली और गायत्री गोपीचंद भी एक स्थान पिछड़ कर 21वें स्थान पर आई।