नई दिल्ली : India vs West Indies T20I Series: भारत और वेस्टइंडीज के बीच तिरुअनंतपुरम में रविवार को खेले गए दूसरे टी-20 मैच में जैसे ही मुंबई के युवा ऑलराउंडर शिवम दुबे ने करियर का पहला अर्धशतक पूरा किया तो उनके घर में जश्न मनाया जाने लगा। हालांकि, शिवम के पिता राजेश दुबे भारत की हार के साथ-साथ इस बात से भी थोड़े निराश थे कि उन्होंने शतक का मौका गंवा दिया, लेकिन उन्हें यह भी उम्मीद है कि शिवम जल्द ही इस अधूरे काम को भी पूरा कर लेंगे।
अपना सिर्फ पांचवां टी-20 अंतरराष्ट्रीय मैच खेल रहे शिवम जब बल्लेबाजी कर रहे थे तो उनकी मां माधुरी, पिता राजेश और दो बड़ी बहनें पूजा और प्रियंका मुंबई स्थित अपने घर पर ही टीवी पर मैच देख रहे थे। उनके साथ शिवम के कुछ दोस्त भी थे। शिवम का अर्धशतक पूरा होते ही सोसायटी के भी कुछ लोग आ गए और बधाई देने लगे। फोन पर भी बधाइयां मिलने लगीं। ऐसे में शिवम की बहनों ने तुरंत मिठाई मंगाकर सभी का मुंह मीठा कराया।
शिवम के ताऊ रह चुके हैं सांसद
राजेश के बड़े भाई रमेश दुबे मिर्जापुर से सांसद रह चुके हैं और फिलहाल उनकी उम्र 80 साल के करीब है। राजेश ने बताया कि जैसे ही शिवम का अर्धशतक पूरा हुआ तो तुरंत उनके बड़े भाई ने फोन कर बधाई दी। वह शिवम के बारे में बात करते हुए भावुक हो गए। राजेश बताते हैं शिवम को क्रिकेटर बनाने में उनके साथ-साथ उनके बड़े भाई का भी बहुत बड़ा योगदान रहा है।
पिछले मैच में अर्धशतक जड़ने वाले केएल राहुल के जल्द आउट होने के बाद कप्तान विराट कोहली ने शिवम को पदोन्नत करके तीसरे नंबर पर बल्लेबाजी करने भेजा। शिवम के लिए यह बड़ा मौका था। उन्होंने इसे हाथों-हाथ भुनाया और 30 गेंदों पर तीन चौकों व चार छक्कों की मदद से 54 रन की ताबड़तोड़ पारी खेल डाली। शिवम का परिवार मूलरूप से उत्तर प्रदेश के भदोही का रहने वाला है, लेकिन पिछले कई वर्षो से मुंबई में रहता है।
पहली बार शिवम को मिला सही मौका
शिवम के पिता राजेश ने दैनिक जागरण से विशेष बातचीत में कहा, “एक तरह से शिवम को बल्लेबाजी का सही मौका पहली बार मिला। शिवम क्लब क्रिकेट में भी नंबर छह या सात पर बल्लेबाजी करते आए हैं और यहां एकाएक उन्हें इतने बड़े मंच पर ऊपर भेज दिया गया। उस पर उनके साथ दूसरे छोर पर विराट कोहली जैसे बड़े खिलाड़ी और कप्तान थे। ऐसे में शिवम पर दबाव होना लाजिमी था, लेकिन उन्होंने बहुत अच्छे से उस दबाव का सामना किया और शानदार पारी खेली।”
राजेश का कहना है कि शिवम को यदि लंबे समय तक खेलना है और विश्व कप जैसे बड़े टूर्नामेंट खेलने हैं तो ऐसे दबाव से पार पाना ही होगा। पिता को लग रहा था कि जिस तरह से शिवम खेल रहे थे, वह शतक भी लगा सकते थे। उन्होंने कहा, “मुझे थोड़ी निराशा है कि बेटा शतक नहीं लगा सका और उसकी पारी भारत को जीत नहीं दिला सकी। मुझे लग रहा था कि शिवम आज कुछ बड़ा स्कोर करेंगे, लेकिन टी-20 में शतक लगाना बड़ी उपलब्धि होती है और मुझे लगता है कि जल्द ही वह इस अधूरे काम को पूरा करेंगे।”