नई दिल्ली।भारतीय फुटबॉल के लिये बीता साल भी निराशाजनक रहा हालांकि राष्ट्रीय टीम ने फीफा रैंकिंग में पिछले छह साल में सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन किया लेकिन 2016 की कुल जमा उपलब्धि बेंगलुरु एफसी का एएफसी कप में उपविजेता रहना रही। अपने अस्तित्व के तीन साल के भीतर ही बेंगलुरु टीम एएफसी कप फाइनल में जगह बनाने में कामयाब रही जिसमें उसे इराक के एयरफोर्स क्लब ने हराया। इस हार के बावजूद बेंगलुरु एफसी इस उपमहाद्वीपीय टूर्नामेंट के फाइनल में पहुंचने वाला पहला भारतीय क्लब रहा। इससे पहले डेम्पो 2008 में और ईस्ट बंगाल 2013 में सेमीफाइनल तक पहुंचा था।
भारतीय फुटबॉल टीम 2018 विश्व कप क्वॉलीफायर के दूसरे चरण से आगे नहीं बढ़ सकी। यही नहीं 2019 एशियन कप के क्वालीफाइंग टूर्नामेंट में भाग लेने के लिये उसे प्लेऑफ से गुजरना पड़ा। घरेलू सर्किट पर गोवा के स्पोर्टिंग क्लब और सालगांवकर ने इंडियन सुपर लीग को देश की आधिकारिक शीर्ष स्पर्धा बनाने के एआईएफएफ के फैसले के खिलाफ आईलीग का बहिष्कार किया। अगले महीने शुरू हो रही आईलीग के दसवें सत्र में दो नये क्लब चेन्नई सिटी एफसी और मिनर्वा पंजाब एफसी जोड़े गए हैं।